राखी की मिठाई ले वीरांगना के घर पहुंचे एमएलए जेठानन्द
RNE Bikaner.
बीकानेर के रानी बाजार स्थित शहीद कानसिंह के घर प्रशासनिक अधिकारियों के साथ विधायक जेठानन्द व्यास पहुंचे। बुजुर्ग वीरांगना सायर कंवर शायद अस्वस्थ भी थी। व्यास ने बिस्तर के पास जाकर उन्हें मिठाई, श्रीफल, शॉल और 2100 रुपए का लिफाफा सौंपा। सायर कंवर के चेहरे पर असमंजस के भाव थे।
चूंकि व्यास हर वक्त साफा भी पहने रहते हैं ऐसे में उन्हें लगा कि कोई सगा- संबंधी आया होगा। अचकचाते हुए पूछ लिया “आप कुण”। असमंजस और अवस्था को भांपते हुए व्यास उनके कान के पास तक झुके। थोड़ा तेज आवाज में बोले “हूँ जेठानंद व्यास, एमएलए हूँ। मुख्यमंत्री भजनलाल जी आप रे वास्ते राखी री मिठाई, शॉल, श्रीफल और 2100 रुपिया भेजिया है..।”
वीरांगना सायर कंवर के चेहरे पर अब असमंजस की बजाय हैरानी के भाव थे। मुख्यमंत्री की ओर से राखी के मौके पर वीरांगना को मिला यह सम्मान उन्हें भावुक कर गया। खुश होकर आशीर्वाद की मुद्रा में हाथ उठाये। लगा, सीएम की पहल सार्थक हो गई। इस मौके पर नगर विकास न्यास के सचिव मुकेश बारहठ ने मुख्यमंत्री के संदेश का पठन किया।
वीरांगनाओं के घर पहुंच रही सीएम की मिठाई :
दरअसल रक्षाबंधन के अवसर पर मुख्यमंत्री भजन लाल शर्मा का संदेश, राखी की मिठाई, इक्कीस सौ रुपए और शॉल-श्रीफल वीरांगना माताओं और बहिनों को भेजा गया। बीकानेर (पश्चिम) विधायक श्री जेठानंद व्यास ने शहीद श्री कानसिंह के रानी बाजार स्थित आवास पहुंचकर उनकी धर्मपत्नी श्रीमती सायर कंवर को यह सामग्री ससम्मान भेंट की।
उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री ने वीरांगना माताओं और बहिनों के प्रति कृतज्ञता अर्पित करते हुए यह अभिनव पहल की है। इससे युवा पीढ़ी को प्रेरणा मिलेगी। इस मौके पर शहीद श्री कानसिंह के परिजन, पार्षद किशोर आचार्य, सहायक अभियंता भव्यदीप, अमित व्यास, अनिल आचार्य, मुरली व्यास आदि मौजूद रहे।
बीकानेर में कहां, किनका सम्मान :
देशनोक उप तहसील के पलाना गाँव की वीरांगना श्रीमती सुगन कँवर पत्नी शहीद श्री नारायण सिंह को नायब तहसीलदार श्री रमेश सिंह, सैनिक कल्याण विभाग के पर्वत सिंह ने मुख्यमंत्री का संदेश सहित अन्य सामग्री भेंट की। सैनिक कल्याण अधिकारी कर्नल यश राठौड़ में बताया कि मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार बीकानेर और नोखा की तीन-तीन, कोलायत और श्रीडूंगरगढ़ की दो तथा खाजूवाला की एक वीरांगना को सम्मान स्वरूप यह सामग्री भेंट की गई। जिला कलेक्टर के निर्देश अनुसार संबंधित एसडीएम अथवा उनके प्रतिनिधि ने यह सामग्री भेंट की।
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