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खींवसर में कांग्रेस का दांव : पति को भाजपा से टिकट नहीं मिला, पत्नी को कांग्रेस ने मैदान में उतारा

  • एन.एल.कड़ेल

RNE Network, Nagaur.

राजस्थान में उपचुनाव वाली सात सीटों पर कांग्रेस ने जहां सभी नए चेहरे उतारे हैं वहीं खींवसर से फिर चौंकाने वाली प्रत्याशी लाई है। यह प्रत्याशी है रतन चौधरी। रोचक बात यह है कि देर रात को ज्योंहि कांग्रेस की लिस्ट घोषित हुई त्योंहि सोशल मीडिया पर एक भाजपा नेता का इस्तीफा वायरल हो गया।

ये भाजपा नेता है सवाईसिंह चौधरी जिन्होंने पिछले चुनाव में ही पार्टी जॉइन की थी।

कौन है रतन चौधरी :

रतन चौधरी कौन है जिसे कांग्रेस ने टिकट दिया है? यह जानने के लिए जरूरी है कि यह जाना जाएं कि सवाईसिंह चौधरी कौन है जिन्होंने कांग्रेस का टिकट घोषित होते ही भाजपा छोड़ दी। इसके लिए वर्ष 2018 के विधानसभा चुनाव में जाना होगा जहां हनुमान बेनीवाल खींवसर विधानसभा से अपनी पार्टी RLP से प्रत्याशी थे। उनके सामने कांग्रेस ने सेवानिवृत पुलिस अधिकारी सवाईसिंह चौधरी को उतारा था। इस चुनाव में बेनीवाल को चौधरी ने कड़ी टक्कर दी थी और 66148 वोट लिए। बेनीवाल 16948 वोटों से चुनाव जीते थे। पिछले चुनाव में सवाई सिंह ने फिर कांग्रेस से टिकट मांगा नहीं मिला तो भाजपा जॉइन कर ली।

कांग्रेस की ओर से खींवसर उप चुनाव के लिए घोषित प्रत्याशी रतन चौधरी इन्हीं सवाईसिंह चौधराई की पत्नी है। ये खुद डॉक्टर रह चुकी हैं। इस बार सवाईसिंह ने भाजपा का टिकट मांगा था। भाजपा ने टिकट नहीं दिया अलबत्ता कांग्रेस ने पत्नी को टिकट दे दिया इसलिए भाजपा छोड़ दी।

हॉटसीट खींवसर पर अब बेनीवाल की बारी :

हनुमान बेनीवाल के सांसद बन जाने के बाद खाली हुई इस सीट पर रालोपा और कंाग्रेस के बीच समझौता होने की पूरी गुंजाइश दिखती थी लेकिन दोनों अंत तक समझौते से इनकार करते रहे। भाजपा ने यहां रेवंतराम डांगा को मैदान में उतारकर हनुमान बेनीवाल के सामने चुनौती खड़ी कर दी। डांगा रालोपा में हनुमान बेनीवाल के सहयोगी और निकटस्थ रहे हैं। नवंबर 2023 में विधानसभा चुनाव से ठीक पहले उन्होने रालोपा छोड़ बीजेपी का दामन थामा था।

बीजेपी ने उन्हें खींवसर से मैदान में उतारा है। कांग्रेस ने यहां डॉ.रतन चौधरी को टिकट दिया है। हनुमान बेनीवाल यहां किसको मैदान में उतारते हैं यह तस्वीर आज साफ हो जाएगी। बेनीवाल ने कल कार्यकर्ताओं की मीटिंग बुलाई थी लेकिन प्रत्याशी घोषित नहीं किया। वे कांग्रेस के फैसले का इंतजार कर रहे थे। कहा, हमने समझौते की पूरी कोशिश की है। ऐसे में कुल मिलाकर एक बार फिर राजस्थान की सात सीटों में सबसे हॉट सीट खींवसर हो गई है।

नये चेहरों पर कांग्रेस ने लगाया दाव, असंतोष को थामना चुनोती:

गौरतलब है कि गठबंधन की आस टूटने के बाद कल रात कांग्रेस ने राज्य की उन सभी 7 सीटों पर उम्मीदवार घोषित कर दिए, जहां उप चुनाव होना है। कांग्रेस ने इस बार नये चेहरों पर दाव लगाया है। वहीं परिवारवाद से कांग्रेस भी अछूती नहीं रही है।


कांग्रेस ने रामगढ़ व झुंझनु में परिवारवाद पर दाव लगाया है तो वहीं बाकी जगह नये लोगों को उतारा है। रामगढ़ में दिवंगत विधायक जुबेर खान के छोटे पुत्र आर्यन जुबेर को टिकट दिया है। झुंझनु में सांसद ब्रजेन्द्र ओला के पुत्र अमित ओला को उम्मीदवार बनाया गया है। ये सीट लगातार ओला परिवार जीतता रहा है।


ये हैं 7 कांग्रेस के उम्मीदवार:

खींवसर – डॉ रतन चौधरी
चौरासी – महेश रोत
झुंझनु – अमित ओला
रामगढ़ – आर्यन जुबेर
सलूम्बर – रेशमा मीना
दौसा – दीनदयाल बैरवा
देवली उणियारा – कस्तूर चंद

अब असंतोष थामना चुनोती:

कांग्रेस के सामने अब बड़ी चुनोती असंतोष को थामना है। झुंझनु से इस बार अल्पसंख्यक समुदाय ने टिकट की मांग की थी। उसके लिए पीसीसी पर प्रदर्शन भी किया था। अब इनको मनाना होगा। इसी तरह नरेश मीणा को भी मनाना होगा।