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दुनिया प्रेम की भाषा तभी सुनती है जब आपके पास अपनी शक्ति हो, पाकिस्तान पर सैन्य कार्यवाई को लेकर संघ प्रमुख का बयान

RNE Network.

आरएसएस के सरसंघचालक मोहन भागवत ने पाकिस्तान पर की गई हालिया कार्यवाई का जिक्र करते हुए कहा कि भारत किसी से द्वेष नहीं रखता, लेकिन दुनिया प्रेम और मंगल की भाषा तभी सुनती है जब आपके पास शक्ति हो।


उन्होंने कहा कि यह दुनिया का स्वभाव है, जिसे बदला नहीं जा सकता। इसलिए विश्व कल्याण के लिए भारत को शक्ति सम्पन्न होना जरूरी है। हमारी ताकत को अब विश्व देख चुका है।


संघ प्रमुख ने यह बातें जयपुर के हरमाड़ा स्थित रविनाथ आश्रम में आयोजित रविनाथ महाराज की पुण्यतिथि के कार्यक्रम में कही। संघ प्रमुख भागवत ने कहा कि भारत की भूमिका बड़े भाई की है। भारत विश्व मे शांति और सौहार्द्र के लिए कार्य कर रहा है। सरसंघचालक ने कहा कि भारत में त्याग की परंपरा रही है। भगवान श्रीराम से लेकर भामाशाह को हम पूजते और मानते हैं। विश्व को धर्म सीखाना भारत का कर्त्तव्य है, इसके लिए भी शक्ति की आवश्यकता होती है।