बहिष्कार: एसडीएम सहित अधिकारी मौके पर पहुंचे, मतदाता नहीं माने मात्र 05 वोट पड़े, इनमें तीन ड्यूटी वाले कर्मचारियों के!
आरएनई, बीकानेर।
बीकानेर में वोटिंग को लेकर इस बार जहां उत्साह कम दिखा वहीं कई गांवों में अपनी समस्याओं से जूझ रहे लोगों ने वोटिंग नहीं करने का निर्णय भी किया। खाजूवाला विधानसभा क्षेत्र के डाइयां और नोखा विधानसभा क्षेत्र के दासनू गांव में बहिष्कार की घोषणा के बाद प्रशासनिक अधिकारियों ने मौके पर पहुंच समझाइश की। समस्याओं के समाधान की दिशा में ठोस कदम उठे और लोग वोटिंग करने को तैयार हो गए।
इससे इतर एक गांव ऐसा भी है जहां मतदाताओं ने तय कर लिया कि बार-बार गुहार के बाद भी हमारी समस्याओं का समधान नहीं हो रहा है। ऐसे में अब वोट नहीं देंगे। मौके पर एसडीएम सहित कई अधिकारी पहुंचे। खूब समझाया लेकिन वे वोट करने को नहीं माने। आखिरकार शाम तक इंतजार के बाद मतदान टीम लौट आई। इस गांव के बूथ पर महज पांच वोट पड़े। इनमें से तीन वोट ईडीसी यानी वहां ड्यूटी पर मौजूद कर्मचारियोें के है।
कौनसा गांव, कितने वोट:
दरअसल मामला खाजूवाला विधानसभा क्षेत्र की पूगल तहसील के गांव फलांवाली का है। इस गांव के बूथ पर 675 वोट है। गांववालों ने मिलकर तय कर लिया कि सालों से नेताओं के सामने गुहार कर रहे हैं लेकिन हमारी समस्याओं पर सुनवाई नहीं हो रही। ऐसे में इस बार वोट नहीं देंगे। देर तक वोटिंग नहीं हुई तो कर्मचारियों ने अधिकारियों को बताया। एसडीएम मनोज खेमदा सहित कई अधिकारी मौके पर पहुंचे। समझाइश की, समस्याओं के समाधान का आश्वासन दिया लेकिन लोग नहीं माने।
पानी की परेशानी के साथ मोबाइल नेटवर्क की कमी बड़ी परेशानी:
इस गांव में भी लोगों के सामने बड़ी समस्या आधारभूत संसाधनों की कमी है। इसमें भी पानी की परेशानी सबसे ज्यादा है। इसके साथ ही एक बड़ी दिक्कत है मोबाइल नेटवर्क गांव में नहीं होना। यहां के निवासियों का कहना है, कोई भी हारी-बीमारी भी मोबाइल पर बात नहीं कर सकता। गांव में ऊंचे टीले पर जाकर या ऊंचाई पर बने एक घर की छत पर जाकर नेटवर्क हासिल करने के प्रयास करने पड़ते हैं। बार-बार सभी नेताओं-अधिकारियों के कहने पर भी इस समस्या का समाधान नहीं हो रहा।
क्या कहते हैं अधिकारी:
पूगल के एसडीएम मनोज खेमदा का कहना है, जब पता चला कि गांव वाले वोटिंग नहीं कर रहे हैं तो उनसे बात करने मौके पर गया था। काफी समझाइश के प्रयास किये। जो समस्याएं बताई उनके समाधान को भी आश्वस्त किया।