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हैरानी : गंभीर-सिन्हा दोनों ने सार्वजनिक तौर पर ‘एक्स’ से पार्टी को संदेश दिया कि वे चुनाव लड़ने के इच्छुक नहीं

  • गंभीर बोले क्रिकेट पर ध्यान दूंगा, जयंत सिन्हा चुनाव लड़ने की बजाय क्लाइमेंट चेंज पर काम करेंगे

आरएनई, नेटवर्क।

चुनावी नजदीक आते एक ओर जहां भाजपा की ओर हाथ बढ़ाने वालों की कतार लगी है वहीं शनिवार को पार्टी को दो झटके भी लगे। ये झटके हैं गौतम गंभीर और जयंत सिन्हा के चुनाव न लड़ने और सक्रिय राजनीति को अलविदा कहना। हैरानी की बात यह है कि दोनों ने अपनी घोषणा पार्टी फोरम पर करने की बजाय सार्वजनिक रूप से ‘एक्स’ पर की है। भाजपा के लिए राहत की बात यह है कि दोनों ने किसी दूसरी पार्टी में जाने या बीजेपी पर आरोप लगाने जैसा कोई संकेत नहीं दिया।

गौतम गंभीर ने यह कहा : पूर्वी दिल्ली से सांसद और इंडिया टीम के पूर्व सदस्य गौतम गंभीर ने ट्वीट में बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह को टैग करते हुए लिखा है ‘मैंने माननीय पार्टी अध्यक्ष से अनुरोध किया है की वह मुझे मेरे राजनीतिक कर्तव्यों से मुक्त करें ताकि मैं अपनी आगामी क्रिकेट प्रतिबद्धताओं पर ध्यान केंद्रित कर सकूं।’

मोदी के बारे में उन्होंने लिखा है ‘मैं माननीय प्रधानमंत्री जी को हृदय से धन्यवाद देता हूं। गृहमंत्री अमित शाह को उन्होंने लोगों की सेवा करने के लिए थैंक यू कहा है।’

जयंत सिन्हा का ‘अलविदा’ कहना चौंका रहा :

गौतम गंभीर की पहचान बतौर खिलाड़ी हैं और वे क्रिकेट में अब किस रूप से सेवा देंगे यह देखने की बात है लेकिन जयंत सिन्हा का सक्रिय राजनीति को अलविदा कहना चौंकाता है।

झारखंड में हजारीबाग लोकसभा सीट से दो बार सांसद रहे जयंत सिन्हा ने ‘एक्स’ पर बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा से प्रत्यक्ष चुनावी कर्तव्यों से मुक्त करने का आग्रह किया है। सिन्हा ने लिखा है वे भारत और दुनिया भर में वैश्विक जलवायु परिवर्जन से निपटने पर अपने प्रयासों पर ध्यान केंद्रित कर सके।

क्या यह है कारण :

आजसू पार्टी के गिरिडीह सांसद चंद्रप्रकाश चौधरी ने गिरिडीह की जगह हजारीबाग से चुनाव लड़ने की इच्छा जताई थी। चंद्रप्रकाश चौधरी हजारीबाग संसदीय क्षेत्र में आने वाले रामगढ़ विधानसभा क्षेत्र से तीन बार विधानसभा चुनाव भी जीत चुके हैं। अभी रामगढ़ से उनकी पत्नी विधायक हैं। ऐसे में चंद्रप्रकाश चौधरी अपने लिए सुरक्षित सीट खोज रहे थे। ऐसे में सवाल उठा रहा है कि इस राजनीतिक संन्यास का कारण पार्टी का उनकी ओर झुकाव तो नहीं है?
अलबत्ता सांसद जयंत सिन्हा ने यह भी कहा कि वे आर्थिक और गर्वनेंस संबंधी मुद्दों पर पार्टी के साथ काम करना जारी रखेंगे।