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BIKANER : चाय बनाते गैस से झुलसी थी मां, बचाने गया बेटा भी आया चपेट में

RNE, BIKANER .

बीकानेर के लूणकरनसर में आग की चपेट में आए मां-बेटे की पीबीएम अस्पताल में इलाज के दौरान मौत हो गई। मां ने गुरुवार देर रात दम तोड़ा तो कुछ ही घंटे बाद शुक्रवार तड़के बेटे की भी मौत हो गई। दोनों के शव पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंपे जा रहे हैं।

लूणकरनसर कस्बे के वार्ड संख्या नौ में गत 9 मई को ये हादसा हुआ था। तब मां संतोष देवी रसोई में चाय बना रही थी। इस दौरान गैर रिसाव के कारण आग लग गई। मां को झुलसते देख बेटे साहब नाथ से रहा नहीं गया, वो मां को बचाने के लिए आगे बढ़ा। आग इतनी तेज फेल चुकी थी कि उसने मां के साथ बेटे को भी अपनी चपेट में ले लिया।

आग देखकर आसपास के लोगों ने पहुंचकर मां-बेटे को बचाया। पहले लूणकरनसर के सरकारी अस्पताल में और बाद में पीबीएम अस्पताल पहुंचाया गया। यहां बर्न यूनिट में दोनों का इलाज चल रहा था। इस दौरान गुरुवार देर रात मां संतोष ने दम तोड़ दिया। सुबह होते-होते बेटे साहब नाथ की भी मौत हो गई। मां संतोष की उम्र करीब 75 साल थी जबकि बेटा साहब नाथ पचास साल का था।

मजदूरी का काम करते थे

साहब नाथ सामान्य परिवार से था और मजदूरी करके अपना घर चला रहा था। मां भी उसके साथ ही रहती थी। उस दिन घर में कोई अन्य महिला के नहीं होने के कारण संतोष चाय बनाने चली गई।

इस दौरान गैस रिसाव हो रहा है, इसका अंदेशा संतोष को नहीं लगा। ऐसे में जैसे ही चाय बनाने के लिए माचिस जलाई, वैसे ही आग भभक गई। मां ज्यादा झुलस थी, जबकि बेटा साहब नाथ कम झुलसा था। पुलिस की मानें तो संतोष 65 फीसदी झुलसी थी जबकि बेटा साहब नाथ 45 फीसदी झुलस गया था।