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JODHPUR : थानाराम-चतराराम परिवार की रंजिश में जमानत पर आये सुभाष की हत्या

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गली के बीच खड़ी बाइक पर बैठा एक युवक फोन पर बतिया रहा है। दो युवक पैदल चलते हुए उसके पास आते हैं। कुछ बातचीत करते हैं।

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पैदल आये युवकों में से एक जेब मे हाथ डालकर कुछ निकालता है और जब तक कोई कुछ समझ पाता तब तक वह जेब से रिवाल्वर निकालकर एक-दो नहीं पूरी पांच गोलियां बाइक पर बैठे युवक पर दाग देता है। कुछ ही क्षणों में बाइक सवार जमीन पर गिरता है। हमलावर आराम से पैदल चलते हुए निकल जाते हैं।


सीसीटीवी फुटेज में दिख रही यह घटना जोधपुर के सांगरिया फाटा इलाके की है। गोलियां लगने के बाद जिस युवक की मौके पर ही मौत हो जाती है वह डांगियावास के खेड़ी सालवा निवासी 19 साल का सुभाष बिश्नोई था। घटना को अंजाम देने वालों की अभी पहचान या गिरफ्तारी नहीं हो पाई है लेकिन जिस तरह की कहानी सामने आई है वह काफी हैरान करने वाली है।


दो परिवारों की रंजिश का नतीजा, चौथी हत्या:

सुभाष बिश्नोई की मौत को दो परिवारों की 54 साल से चल रही रंजिश की कड़ी में चौथी हत्या माना जा रहा है। इसी कड़ी में सुभाष खुद भी हत्या के आरोप में जेल मंे था। कुछ दिन पहले ही जमानत पर बाहर आया है।


यूं बताई जा रही है रंजिश:

खूनी रंजिश की यह कहानी गांव खेड़ी सालवा में दो पड़ौसियों थानाराम-चतराराम के बीच 15 मई 1970 क शुरू हुई। दोनों पड़ौसी परिवारों के बीच किसी बात पर झगड़ा हो गया। झगड़े में थानाराम के परिवार ने लाठी से वार कर चतराराम की हत्या कर दी थी।
दादा की मौत का बदला लेने के लिए साल 2018 में अनिल लेगा ने थानाराम की हत्या कर दी थी।


पिता की हत्या का बदला लेने के लिए 9 महीने पहले थानाराम के बेटे और परिवार ने अनिल लेगा की गोली मार हत्या कर दी थी।
अनिल लेगा की हत्या में सुभाष अपने बड़े भाई के साथ शामिल था। सुभाष 20 दिन पहले ही जमानत पर बाहर आया है। अब सुभाष की भी हत्या हो गई।